Hindi News / State / Uttar Pradesh / शादी से पहले मातम में बदली खुशी: दूल्हे समेत चार चचेरे भाइयों की सड़क हादसे में मौत, हरिद्वार जा रहे थे गंगा स्नान के लिए

शादी से पहले मातम में बदली खुशी: दूल्हे समेत चार चचेरे भाइयों की सड़क हादसे में मौत, हरिद्वार जा रहे थे गंगा स्नान के लिए

हरियाणा के सोनीपत से हरिद्वार जा रहे चारों युवक शामली में कैंटर से टकराई स्विफ्ट कार में मारे गए, सभी परिवारों के इकलौते बेटे थे

Shamli road accident: Four cousins including groom killed after car crashes into parked canter

शामली जिले में शुक्रवार रात एक ऐसा भीषण सड़क हादसा हुआ जिसने चार परिवारों की खुशियां मातम में बदल दीं। हरियाणा के सोनीपत जिले के बरोदा गांव के चार चचेरे भाई-परमजीत, साहिल, विवेक और आशीष-हरिद्वार गंगा स्नान के लिए निकले थे। परमजीत की अगले दिन शादी होनी थी और बाकी तीनों भाई इस शुभ अवसर की तैयारियों में शामिल थे। रात करीब एक बजे जैसे ही उनकी स्विफ्ट कार पानीपत-खटीमा हाईवे पर बुटराड़ा फ्लाईओवर के पास पहुंची, वह सड़क किनारे खड़े एक कैंटर से जोरदार टकरा गई। टक्कर इतनी भयंकर थी कि कार का अगला हिस्सा पूरी तरह से चकनाचूर हो गया और चारों युवक मौके पर ही मौत के शिकार हो गए। हादसे की आवाज सुनकर आसपास के लोग दौड़े, लेकिन कार की हालत देखकर सभी स्तब्ध रह गए। पुलिस को सूचना दी गई तो टीम ने गैस कटर से कार काटकर शवों को बाहर निकाला। कार इतनी क्षतिग्रस्त हो चुकी थी कि उसके टुकड़े सौ मीटर तक सड़क पर बिखर गए थे और छत पूरी तरह गायब थी। कार का स्टेयरिंग चालक के सीने में धंस गया था। पुलिस ने कैंटर को कब्जे में लिया है जबकि उसका चालक मौके से फरार हो गया।

नशे की आशंका, एक दिन बाद होनी थी शादी

पुलिस जांच में सामने आया कि स्विफ्ट कार के अंदर से शराब की बोतलें मिली हैं। अधिकारियों का कहना है कि संभावना है, हादसे के वक्त सभी युवक नशे में थे, जिससे वाहन पर नियंत्रण नहीं रह सका। मृतकों की पहचान 22 वर्षीय साहिल, 23 वर्षीय विवेक, 24 वर्षीय आशीष और 24 वर्षीय परमजीत के रूप में हुई है। इनमें परमजीत की शनिवार को बारात निकलनी थी, जबकि आशीष की शादी अगले साल फरवरी में तय थी और साहिल की शादी पिछले वर्ष ही हुई थी। इन चारों में से तीन युवकों के पिता की पहले ही मृत्यु हो चुकी थी और वे अपने घर के इकलौते बेटे थे। परिवारों को जब यह खबर मिली तो पूरे गांव में कोहराम मच गया। जहां कुछ घंटे पहले बैंड-बाजे और शहनाइयों की तैयारी थी, वहीं अब चार अर्थियों की तैयारी हो रही है। ग्रामीणों ने बताया कि चारों भाइयों में गहरी दोस्ती थी, वे हर मौके पर एक साथ रहते और साथ ही समय बिताते थे। गंगा स्नान का यह सफर एक धार्मिक यात्रा के रूप में शुरू हुआ था, लेकिन नियति ने इसे दर्दनाक हादसे में बदल दिया।

गांव में मातम और यादों में जिंदा मोहब्बत

शनिवार सुबह जब चारों युवकों के शव गांव पहुंचे, तो पूरे बरोदा में मातम छा गया। घरों में महिलाएं रो-रोकर बेसुध हो गईं। परमजीत के घर में जहां मंडप सजाया गया था, वहीं अब वहां शोक सभा लग गई। उसकी मां का रो-रोकर बुरा हाल है, जो कहती हैं कि बेटे के सिर पर सेहरा देखना चाहती थीं, लेकिन अब उसे तिरंगे में लिपटा देख रही हैं। गांव के बुजुर्गों का कहना है कि चारों युवक मेहनती और नेकदिल थे। साहिल डाक विभाग में काम करता था, विवेक अपने पिता के साथ खेती करता था और आशीष खेती-बाड़ी से परिवार का गुजारा करता था। परमजीत भी परिवार की जिम्मेदारियां निभाने वाला समझदार बेटा था। पुलिस ने बताया कि हादसे की जांच की जा रही है, कैंटर चालक की तलाश जारी है और आसपास के इलाकों में सीसीटीवी फुटेज खंगाले जा रहे हैं। इस दर्दनाक हादसे ने एक बार फिर यह सोचने पर मजबूर कर दिया है कि तेज रफ्तार और लापरवाही कैसे चंद सेकंड में कई परिवारों की खुशियां छीन सकती है। सोनीपत से शामली तक यह खबर फैलते ही हर कोई यही कह रहा है—जिस बारात की तैयारी थी, वहां अब चार अर्थियां उठीं, और इस त्रासदी ने पूरे इलाके को शोक में डूबो दिया।

ये भी पढ़ें:  पीलीभीत टाइगर रिजर्व में बाघ का हमला टला: जिप्सी पर झपट्टा मारकर दौड़ाया पर्यटकों को, ड्राइवर की सूझबूझ से बची 11 लोगों की जान
Share to...