गोरखपुर के चिलुआताल क्षेत्र में एक ट्रांसजेंडर महिला के साथ फोन पर अभद्रता और धमकी देने का मामला प्रकाश में आया है। यह मामला तब सामने आया जब पीड़िता ने थाने में तहरीर देकर आरोप लगाया कि एक अज्ञात व्यक्ति लगातार उसे फोन कर अश्लील बातें करता है और शारीरिक संबंध बनाने के लिए दबाव डालता है। विरोध करने पर आरोपी न केवल गाली-गलौज करता है बल्कि जान से मारने की धमकी भी देता है। पुलिस ने इस गंभीर शिकायत को संज्ञान में लेते हुए अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। घटना ने न केवल स्थानीय लोगों बल्कि समाजसेवियों के बीच भी चिंता का माहौल पैदा कर दिया है, क्योंकि यह मामला उन लोगों के प्रति असंवेदनशील रवैये को उजागर करता है जो समाज में समान अधिकारों के लिए संघर्ष कर रहे हैं। पीड़िता के अनुसार, उसे कई अज्ञात नंबरों से लगातार फोन किए जा रहे हैं, जिनमें से ज्यादातर देर रात आते हैं। आरोपी बार-बार अश्लील बातें करता है और उसके मना करने पर धमकी भरे शब्दों का इस्तेमाल करता है। पीड़िता ने बताया कि उसने आरोपी की धमकियों की ऑडियो रिकॉर्डिंग अपने मोबाइल में सुरक्षित रखी है ताकि जरूरत पड़ने पर पुलिस के सामने सबूत के रूप में पेश कर सके।
पुलिस ने दर्ज किया मुकदमा, आरोपी की पहचान में जुटी टीम
चिलुआताल थाना पुलिस ने इस मामले में तेजी से कार्रवाई शुरू की है। थाना प्रभारी सूरज सिंह ने बताया कि पीड़िता की तहरीर के आधार पर अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ आईपीसी की संबंधित धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया है। पुलिस ने आरोपी के मोबाइल नंबर का कॉल डिटेल रिकॉर्ड (CDR) निकलवाने की प्रक्रिया शुरू कर दी है ताकि उसकी पहचान जल्द की जा सके। फिलहाल आरोपी फरार है, लेकिन पुलिस तकनीकी सहायता और साइबर टीम की मदद से उसे पकड़ने के प्रयास में जुटी है। थाना प्रभारी ने बताया कि प्रारंभिक जांच में यह भी पता चला है कि कॉल करने वाला व्यक्ति बार-बार नंबर बदलकर फोन करता था, जिससे उसकी लोकेशन ट्रेस करना कठिन हो गया है। इसके बावजूद पुलिस ने सिम कार्ड जारी करने वाली एजेंसी से जानकारी मांगी है और स्थानीय स्तर पर भी सुराग जुटाने की कोशिशें जारी हैं। अधिकारी ने आश्वासन दिया कि आरोपी की गिरफ्तारी जल्द की जाएगी और पीड़िता की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक कदम उठाए जा रहे हैं।
ट्रांसजेंडर समुदाय में आक्रोश, सुरक्षा की मांग
इस घटना के बाद ट्रांसजेंडर समुदाय में आक्रोश फैल गया है। सामाजिक कार्यकर्ताओं का कहना है कि इस तरह की घटनाएं न केवल व्यक्ति विशेष के खिलाफ अपराध हैं, बल्कि यह समाज में ट्रांसजेंडर समुदाय के प्रति मौजूद असुरक्षा और असमानता की भावना को भी दर्शाती हैं। पीड़िता ने बताया कि वह उत्तर प्रदेश राज्य एड्स नियंत्रण सोसाइटी (UPSACS) से जुड़ी हैं और स्वास्थ्य जागरूकता के क्षेत्र में काम करती हैं। उन्होंने कहा कि इस तरह की धमकियों से उनके काम पर भी असर पड़ सकता है क्योंकि अब उन्हें अपनी सुरक्षा की चिंता सताने लगी है। समाजसेवियों ने प्रशासन से मांग की है कि इस मामले में त्वरित कार्रवाई करते हुए आरोपी को गिरफ्तार किया जाए और पीड़िता को सुरक्षा दी जाए। कई स्थानीय संगठनों ने इस घटना की निंदा करते हुए कहा है कि ऐसे मामलों में पुलिस को सख्ती दिखानी चाहिए ताकि समाज में यह संदेश जाए कि किसी भी व्यक्ति के साथ उसके लिंग पहचान के आधार पर दुर्व्यवहार बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। फिलहाल पुलिस जांच जारी है और उम्मीद की जा रही है कि आरोपी जल्द ही पुलिस की गिरफ्त में होगा, जिससे पीड़िता को न्याय मिल सकेगा और इस घटना से समाज में एक सकारात्मक संदेश जाएगा।




