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गोरखपुर मंदिर में मांस फेंकने से मचा बवाल: आरोपी युवक हिरासत में, भीड़ ने की पिटाई

आरती के दौरान महिलाओं पर फेंका मांस, अफरा-तफरी के बाद पुलिस ने संभाला हालात

Gorakhpur railway station digital interlocking system

आरती के समय मंदिर में फैला तनाव

गोरखपुर जिले के पिपराइच रेलवे स्टेशन के पास स्थित संकट मोचन हनुमान मंदिर में सोमवार की शाम उस समय अचानक अफरा-तफरी का माहौल बन गया जब एक युवक ने पूजा के दौरान महिलाओं पर मांस का टुकड़ा फेंक दिया। घटना के समय मंदिर परिसर में आरती चल रही थी और बड़ी संख्या में महिलाएं पूजा-अर्चना में शामिल थीं। अचानक हुए इस कृत्य से श्रद्धालुओं में हड़कंप मच गया और देखते ही देखते लोगों ने हंगामा करना शुरू कर दिया। महिलाएं घबराकर चिल्लाने लगीं और वहां मौजूद भक्तों ने आरोपी को पकड़ने के लिए चारों ओर से घेर लिया। आरोपी युवक बाइक पर सवार होकर मौके से भागने की कोशिश कर रहा था लेकिन बाहर बैठे लोगों ने उसे पकड़ लिया और उसकी जमकर पिटाई कर दी। कुछ ही देर में मंदिर के आसपास बड़ी भीड़ इकट्ठा हो गई और स्थिति तनावपूर्ण हो गई। करीब आधे घंटे तक लोग आक्रोशित होकर नारेबाजी करते रहे और आरोपी के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग उठाते रहे। सूचना मिलने पर पुलिस तुरंत मौके पर पहुंची और आरोपी को भीड़ से छुड़ाकर हिरासत में ले लिया।

आरोपी की पहचान और पूछताछ में सामने आई बातें

पुलिस ने पकड़े गए युवक की पहचान चकदहां टोला अगिया निवासी उमेश यादव के रूप में की है। बताया जा रहा है कि आरोपी शारीरिक रूप से दिव्यांग है और वारदात के समय नशे की हालत में था। पुलिस ने उसकी बाइक भी कब्जे में ले ली है। शुरुआती पूछताछ में युवक ने कबूल किया कि उसने मंदिर परिसर में महिलाओं पर मांस का टुकड़ा फेंका लेकिन अपने इस कदम की वजह वह साफ नहीं बता सका। पुलिस अधिकारियों के अनुसार आरोपी बार-बार अपना बयान बदल रहा है। पहले उसने दावा किया कि इलाके के एक मीट दुकानदार ने उसे ऐसा करने के लिए उकसाया था, बाद में उसने अपनी बात बदल दी। पुलिस सूत्रों के मुताबिक उमेश यादव पहले हैदराबाद में पेंटिंग का काम करता था और हाल ही में अपने घर कुशीनगर लौटा है। जांच अधिकारी यह भी देख रहे हैं कि आरोपी का इस घटना के पीछे क्या वास्तविक मकसद था और क्या इसमें किसी और की भूमिका है। फिलहाल पुलिस ने मामले की गंभीरता को देखते हुए आरोपी को कड़ी सुरक्षा में रखा है और स्थानीय खुफिया इकाइयों को भी जांच में लगाया गया है।

पुलिस-प्रशासन की कार्रवाई और भीड़ का गुस्सा शांत

घटना की जानकारी मिलते ही सीओ चौरीचौरा अनुराग सिंह स्वयं मौके पर पहुंचे और आक्रोशित भीड़ को समझाने का प्रयास किया। उनके आश्वासन के बाद धीरे-धीरे भीड़ शांत हुई और देर रात मूर्ति विसर्जन की प्रक्रिया फिर से शुरू हो सकी, जो घटना के बाद रोक दी गई थी। पुलिस अधिकारियों ने लोगों को भरोसा दिलाया कि मामले की गहराई से जांच की जाएगी और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी। इस बीच स्थानीय लोग दूसरे आरोपी की गिरफ्तारी की मांग पर अड़े रहे और थाने तक पहुंच गए। हालांकि पुलिस ने स्थिति को नियंत्रण में रखा और माहौल बिगड़ने से पहले भीड़ को समझाकर वापस भेज दिया। सीओ अनुराग सिंह ने मीडिया को जानकारी देते हुए बताया कि आरोपी नशे की हालत में है और उससे लगातार पूछताछ जारी है। उन्होंने कहा कि युवक का नाम उमेश यादव (35) है और वह हाल ही में अपने पैतृक गांव लौटा है। प्रशासन ने यह भी साफ किया कि धार्मिक स्थलों की सुरक्षा को लेकर अतिरिक्त सतर्कता बरती जाएगी ताकि भविष्य में इस तरह की घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो। फिलहाल गोरखपुर पुलिस घटना से जुड़े हर पहलू की जांच कर रही है और स्थानीय प्रशासन ने लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की है।

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