गोरखपुर, उत्तर प्रदेश – गोरखपुर से चलने वाली पूर्वोत्तर रेलवे (NER) की ट्रेनों में यात्रियों की सुरक्षा को बढ़ाने के लिए जल्द ही वॉयस रिकॉर्डर सिस्टम लगाया जाएगा। यह सिस्टम लोको पायलट और सहायक लोको पायलट की बातचीत के साथ-साथ इंजन में हो रही सभी आवाज़ों को रिकॉर्ड करेगा। रेल प्रशासन ने इसके लिए 382 लोको इंजन में वॉयस रिकॉर्डर लगाने का टेंडर जारी किया है। यह सिस्टम हवाई जहाज के ब्लैक बॉक्स की तरह कार्य करेगा और ट्रेन संचालन में सुरक्षा सुनिश्चित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।
ट्रायल और कार्यक्षमता
रेल प्रशासन ने प्रारंभिक रूप से 12 इंजनों में ट्रायल के तौर पर वॉयस रिकॉर्डर सिस्टम लगाया था। इस दौरान इसकी कार्यक्षमता और आवाज रिकॉर्डिंग की गुणवत्ता का परीक्षण किया गया। प्रारंभिक अनुभव सकारात्मक रहे हैं, जिसके बाद इसे बड़े पैमाने पर तीनों मंडलों में लागू करने की योजना बनाई गई है। इस वर्ष लखनऊ मंडल में 224, इज्जतनगर मंडल में 104 और वाराणसी मंडल में 46 लोको इंजन में वॉयस रिकॉर्डर लगाए जाने का लक्ष्य रखा गया है। इससे ट्रेन संचालन में सुरक्षा बढ़ेगी और संवाद संबंधी त्रुटियों में कमी आएगी।
सुरक्षा सुधार और भविष्य पर असर
वॉयस रिकॉर्डर के लागू होने के बाद लोको पायलट और सहायक लोको पायलट मोबाइल फोन के माध्यम से बातचीत नहीं कर पाएंगे और केवल वॉकी-टॉकी का उपयोग कर गार्ड और स्टेशन मास्टर से संपर्क करेंगे। इससे सिग्नल ओवरशूट और अन्य हादसों में सही संवाद सुनिश्चित होगा। पूर्वोत्तर रेलवे के CPRO पंकज कुमार सिंह ने बताया कि टेंडर प्रक्रिया पूरी हो चुकी है और दीवाली के बाद वॉयस रिकॉर्डर लगाने का कार्य शुरू हो जाएगा। विशेषज्ञों का मानना है कि वॉयस रिकॉर्डर से भविष्य में ट्रेन संचालन और सुरक्षा मानकों का सटीक विश्लेषण किया जा सकेगा, जिससे यात्री सुरक्षा और मजबूत होगी और ट्रेन हादसों में कमी आएगी।